साहित्य
-
शुक्रिया कहना मां
आशीष जोशी ने अपनी वॉल पर एक हृदय विदारक कविता शेयर की है। रचनाकार के बारे में वह नहीं जानते…
Read More » -
‘गीतेश’ की कविताओं में बच्चे सा मचलता है ‘पहाड़’
युवा ‘गीतेश सिंह नेगी’ का प्रारंभिक परिचय गढ़वाली कवि, गीतकार, गजलकार, जन्म-फिरोजपुर, मूल निवास- महरगांव मल्ला, पौड़ी गढ़वाल, संप्रति- भू-भौतिकविद,…
Read More » -
सिंह ग्रन्थावली’: भजनसिंह ‘सिंह’ के कृत्तित्व का साक्षात्कार
‘सिंह ग्रन्थावली’ नाम से गढ़वाली भाषा साहित्य का महत्वपूर्ण ग्रन्थ प्रकाशित हुआ है। गढ़वाली साहित्य के युगपुरुष भजन सिंह ‘सिंह’…
Read More » -
अपण ब्वे का मैस
अपण ब्वे का मैस/ होला वो/ जो हमरि जिकुड़ि मा घैंटणा रैन/ घैंटणा छन कीला/वाडा/दांदा! जो, हमारा नौ फर, कागज…
Read More » -
जादूगर खेल दिखाता है
जादूगर खेल दिखाता है अपने कोट की जेब से निकालता है एक सूर्ख फूल और बदल देता है उसे पलक…
Read More » -
ओ साओ ! तुम कैक छा ?
पहाड़ के रसूल हमताजोव हैं शेरदा अनपढ़ तुम सुख में लोटी रया, हम दुःख में पोती रयां ! तुम स्वर्ग,…
Read More » -
दाज्यू मैं गांव का ठैरा
अनिल कार्की// पहाड़ में रहता हूं गांव का ठैरा दाज्यू में तो पीपल की छांव सा ठैरा ओल्ले घर में…
Read More » -
ग़ज़ल
दुष्यंत कुमार // तुम्हारे पांव के नीचे कोई जमीन नहीं, कमाल ये है कि फिर भी तुम्हें यकीन नहीं ।।…
Read More » -
मेरो हिमालय
म्यारा ऊंचा हिमालय तै शांत रैण द्या नि पौंछावा सड़की पुंगड़ी – कूड़ी नि दब्यौण द्या, म्यारा ऊंचा हिमालय तै…
Read More » -
अस्पताल
सुविधा त सबि छन यख अजगाल अस्पताल मा डागटर च दवे च कंपौंडर च यख तक कि नर्स अर आया…
Read More »